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राज्यसभा से सेवानिवृत्त हो रहे 72 सांसदों को पीएम मोदी ने दी विदाई और कहां जब ऐसे अनुभवी साथी सदन से जाते हैं तो बहुत बड़ी कमी सदन को, राष्ट्र को होती है

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को राज्यसभा के 72 सेवानिवृत्त सदस्यों की विदाई के मौके पर सदन में बोलते हुए उनको शुभकामनाएं दीं. उन्होंने कहा, ”हमने इस संसद में लंबा समय बिताया है. इस सदन ने हमारे जीवन में बहुत योगदान दिया है, जितना हमने इसमें योगदान दिया है. इस सदन के सदस्य के रूप में प्राप्त अनुभव को देश के चारों दिशाओं में ले जाना चाहिए. हमारे राज्यसभा सदस्यों के पास बहुत अनुभव है. कभी-कभी अनुभव में अकादमिक ज्ञान से अधिक शक्ति होती है. हम सेवानिवृत्त सदस्यों से कहेंगे ‘आ फिर से इस सदन में आओ.”

प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, अनुभव से जो प्राप्त हुआ होता है, उसमें समस्याओं के समाधान के लिए सरल उपाय होते हैं. अनुभव का मिश्रण होने के कारण गलतियां कम से कम होती हैं. अनुभव का अपना एक महत्व होता है. जब ऐसे अनुभवी साथी सदन से जाते हैं तो बहुत बड़ी कमी सदन को, राष्ट्र को होती है. साथ ही पीएम मोदी ने कहा, ये आजादी का अमृत महोत्सव है. हमारे महापुरुषों ने देश के लिए बहुत कुछ दिया, अब देने की जिम्मेदारी हमारी है. अब आप खुले मन से एक बड़े मंच पर जाकर आजादी के अमृत महोत्सव के पर्व को माध्यम बनाकर प्रेरित करने में योगदान कर सकते हैं.

रिटायर हो रहे सदस्यों में सदन में कांग्रेस के उपनेता आनंद शर्मा, ए. के. एंटनी, बीजेपी नेता सुब्रमण्यम स्वामी, एम. सी. मैरी कॉम और स्वप्न दासगुप्ता शामिल हैं. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, सुरेश प्रभु, एम. जे अकबर, जयराम रमेश, विवेक तन्खा, वी. विजयसाई रेड्डी का कार्यकाल जून में खत्म होगा.

जुलाई में रिटायर होने वाले सदस्यों में पीयूष गोयल, मुख्तार अब्बास नकवी, पी. चिदंबरम, अंबिका सोनी, कपिल सिब्बल, सतीश चंद्र मिश्रा, संजय राउत, प्रफुल्ल पटेल और के. जे. अल्फोंस शामिल हैं. कुछ केंद्रीय मंत्रियों और बीजेपी नेताओं को फिर से नामित किया जाएगा. वहीं कांग्रेस के कुछ सदस्यों को पुन: नामित किए जाने पर स्थिति स्पष्ट नहीं है. इनमें से कई सदस्य जी-23 में शामिल हैं जो पार्टी नेतृत्व की आलोचना करते रहे हैं.