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रायपुर शहर में डेंगू का कहर: मेकाहारा में अधिकांश मरीज डेंगू के

वायरल फीवर के प्रकोप ने पूरी राजधानी को जकड़ लिया
मलेरिया से जनता से रिश्ता के 10-12 स्टाफ की तबीयत खराब हो चुकी
निजी और सरकारी अस्पतालों में मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही
स्वास्थ्य विभाग और नगर निगम अभी तक मुस्तैद दिखाई नहीं दे रही
रायपुर: राजधानी रायपुर में इस सीजन में डेंगू से पहली मौत हुई है। रविवार की रात देवेंद्रनगर के निजी अस्पताल में डेंगू पीडि़त युवक ने दम तोड़ दिया। इधर, अंबेडकर अस्पताल में डेंगू के शक पर दो दर्जन से ज्यादा मरीजों को भर्ती किया गया है। शहर के सभी बड़े निजी अस्पतालों में डेंगू के मरीज भर्ती हो रहे हैं। हालांकि स्वास्थ्य विभाग के रिकार्ड में राजधानी में केवल तीन मरीजों में ही डेंगू निकला है। बाकी को सरकारी अमला इसलिए डेंगू नहीं मान रहा है क्योंकि इनके ब्लड सैंपल का वायरोलॉजी लैब में एलाइजा टेस्ट नहीं हुआ है। इस बीच, अंबेडकर अस्पताल में ही एक दर्जन मरीजों के शरीर में डेंगू के वायरस की वजह से प्लेटलेट कम हो गया है।
मेडिसिन विशेषज्ञ डा. योगेंद्र मलहोत्रा के अनुसार अभी जो मरीज आ रहे हैं उनमें ज्यादातर प्लेटलेट कम होने वाले हैं, लेकिन गंभीर नहीं है। देवेंद्रनगर अस्पताल के संचालक डा. सुनील खेमका के अनुसार जिस युवक की मौत हुई, उसे गंभीर हालत में लाया गया था। इलाज शुरू होने से पहले ही उसने दम तोड़ दिया। अंबेडकर अस्पताल सहित ज्यादातर नर्सिंग होम में मरीज के लक्षण के देखने के बाद एनएस-1 व आईजीएम व आईजीजी किट से डेंगू की जांच की जा रही है। इसी रिपोर्ट के आधार पर मरीजों का ट्रीटमेंट किया जा रहा है, जबकि स्वास्थ्य विभाग केवल वायरोलॉजी लैब में होने वाले टेस्ट रिपोर्ट में ही पॉजिटिव आने वाले को मरीज मानता है। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों का कहना है वायरोलॉजी लैब में एलाइजा टेस्ट के बाद ही पुष्टि होती है कि मरीज डेंगू पीडि़त है या नहीं। एलाइजा टेस्ट के लिए बाकायदा गाइड लाइन बनी है। उसी का पालन कर ब्लड टेस्ट किया जाता है।
एडिस मच्छर किसी मरीज को काटने के बाद फैलाता है डेंगू: विशेषज्ञों के अनुसार डेंगू एडिस मच्छर के काटने से होता है, लेकिन इसकी भी शर्त है। एडिस मच्छर जब किसी डेंगू पीडि़त को काटने के बाद किसी स्वस्थ्य व्यक्ति को काटता है, तभी उसे संक्रमण होता है। आमतौर पर एडिस मच्छर दिन में और शरीर के निचले हिस्से पर ही काटता है। ये मच्छर साफ पानी में पनपता है। इसलिए घरों में साफ पानी अधिक दिनों तक कहीं भी जमा न होने दें।

इस बीच सोमवार को स्वास्थ्य विभाग के अफसरों ने अंबेडकर अस्पताल के डाक्टरों के साथ डेंगू के मरीजों पर समीक्षा की और अस्पताल पहुंच रहे मरीजों की स्थिति के बारे में जानकारी ली। मेडिकल कॉलेज के वायरोलॉजी लैब में अब तक तीन मरीजों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। स्वास्थ्य विभाग केवल इन्हीं केस को पॉजिटिव मान रहा है।
फिजिशियन की सलाह के बिना प्लेटलेट नहीं चढ़ाएं: छत्तीसगढ़ राज्य महामारी नियंत्रक डा. सुभाष मिश्रा का कहना है कि जैसे ही किसी मरीज में डेंगू की पुष्टि होती है, अनावश्यक तौर पर प्लेटलेट चढ़ाने की बातें होने लगती हैं। परिजन भी दबाव बनाते हैं, ऐसा नहीं करना चाहिए। फिजिशियन की सलाह पर ही प्लेटलेट चढ़ाना उचित रहता है।